तेल-तिलहन बाजार में एक बार फिर बड़ी हलचल देखने को मिल रही है।
आज सरसों में मजबूत तेजी के संकेत मिले हैं और इसके पीछे कई घरेलू और अंतरराष्ट्रीय कारण हैं, जो व्यापारियों और किसानों दोनों के लिए अहम हो सकते हैं।
मुख्य कारण जो बाजार को प्रभावित कर रहे हैं:
भारत-पाक तनाव:
सीमा पर बने युद्ध जैसे हालातों से तेल-तिलहन बाजार में तेजी की आशंका बढ़ी है। यह तनाव बाजार को एक नई दिशा दे सकता है।
भावों में जबरदस्त पलटाव:
सुबह हल्की मंदी के बाद शाम तक सरसों ₹89 की छलांग लगाकर ₹6050 के पार पहुंच गई। इससे यह स्पष्ट है कि बाजार में तेजी की धार मजबूत हो रही है।
लंबे समय बाद 7000 की उम्मीद:
सरसों में ₹7000 के स्तर को लेकर एक बार फिर उम्मीद बन रही है, जो निवेशकों के लिए उत्साहजनक संकेत है।
विदेशी बाजारों का सहयोग:
अमेरिका और मलेशिया के बाजारों में भी तेजी के संकेत हैं। साथ ही, चीन में पाम ऑयल 1% तेज हुआ है, जो वैश्विक बाजार के लिए सकारात्मक संकेत है।
जयपुर कच्ची घानी तेल की तेजी:
आज जयपुर में कच्ची घानी का भाव ₹1305 प्रति किलो रहा और यह जल्द ही ₹1330 तक पहुंच सकता है।
मंडी सेंटिमेंट:
अगर सरसों ₹6400 के ऊपर बंद होती है, तो नए तेजी के दौर की शुरुआत हो सकती है।
निष्कर्ष:
सरसों में फिर से बड़ी तेजी की संभावना बन रही है।
व्यापारियों और किसानों के लिए यह एक सुनहरा मौका हो सकता है।
आज का मूवमेंट आने वाले दिनों के ट्रेंड को तय कर सकता है।